एक्सप्रेस न्यूज़, बक्सर: बिहार कांग्रेस प्रभारी भक्त चरण दास आजकल अजीब मुश्किल में फंसे हुए हैं. जहां भी वह जा रहे हैं वहां उनकी बैठक बाद में लेकिन हंगामा पहले हो जा रहा है. मंगलवार को बक्सर में भी उनके साथ ऐसा ही हुआ जब वह बक्सर पहुंचे तो जिला अतिथि गृह में उनके सामने ही सदर विधायक संजय कुमार तिवारी और यूथ कांग्रेस के जिलाध्यक्ष पंकज उपाध्याय के समर्थक आपस में भिड़ गए.
जिला अतिथि गृह में सदर विधायक व यूथ कांग्रेस के जिलाध्यक्ष के बीच बात बहसबाजी से शुरू हुई और नौबत हाथापाई तक जा पहुंची. बाद में किसी तरह प्रदेश प्रभारी तथा प्रदेश अध्यक्ष ने बीच-बचाव कर मामले को ठंडा किया. घटना के बाद जहां विधायक पार्टी कार्यालय में हुई बैठक में भाग लेने नहीं गए, वहीं मीटिग में पार्टी के जिलाध्यक्ष के विरोध में असंतुष्ट गुट के द्वारा पर्चे उछाले गए. पार्टी के बिहार प्रभारी और प्रदेश अध्यक्ष जिला टीम और कार्यकर्ताओं के साथ पार्टी के विस्तार के लिए बैठक करने आए थे. बैठक कांग्रेस के जिला कार्यालय में होनी थी, इसके पहले प्रदेश स्तरीय दोनों नेता सर्किट हाउस में जिला कार्यकर्ताओं से मिल रहे थे. इसी में कांग्रेस के सदर विधायक संजय तिवारी उर्फ मुन्ना तिवारी वरिष्ठ नेता टीएन चौबे के साथ वहां पहुंचे थे. इसी दौरान यूथ कांग्रेस के जिलाध्यक्ष पंकज उपाध्याय भी मिलने पहुंचे थे. तभी अचानक एक दूसरे के सामने होते ही दोनों के बीच बहसबाजी छिड़ गई और बात बढ़ते-बढ़ते नौबत हाथापाई तक जा पहुंची. तभी पार्टी के वरीय नेताओं ने बीच बचाव कर किसी तरह मामले को शांत किया. इस संबंध में सदर विधायक तथा उनके पक्ष के लोगों का कहना था कि पंकज उपाध्याय ने प्रभारी से मिलने के दौरान बदतमीजी की थी, जबकि पंकज उपाध्याय का कहना है कि विधायक ने उन्हें बैठक से बाहर निकल जाने को कहा था. हालांकि, बाद में पार्टी कार्यालय में जिले के पदाधिकारियों के साथ प्रदेश से आए नेताओं ने बैठक की. बैठक की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष तथागत हर्षवर्द्धन ने की. वहीं, चौसा में पार्टी के पूर्व यूथ अध्यक्ष सत्येंद्र ओझा के नेतृत्व में प्रदेश प्रभारी और प्रदेश अध्यक्ष का भव्य स्वागत किया गया.
मामले को लेकर जब कांग्रेस के प्रदेश प्रभारी से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि पार्टियों में इस तरह की बातें होती रहती है. यह आम बात है. यह अलग बात है कि हमारी बातें मीडिया में तुरंत आ जाती हैं जबकि अन्य पार्टियों की बातों को दबा दिया जाता है. जो कुछ भी हुआ उसे सर्वथा अनुचित बताते हुए कहा कि पार्टी की आंतरिक कलह कभी भी सतह पर नहीं आनी चाहिए. अगर कोई आपसी मनमुटाव है तो उसे शालीनता से बातचीत द्वारा दूर कर लेना चाहिए.
वहीं बैठक के दौरान जिलाध्यक्ष के वरोध में कार्यकर्ताओं द्वारा पर्चा भी उछाला गया, जिसे देखते हुए फिलहाल पार्टी में खलबली मची हुई है.
बताते चलें कि भक्तचरण दास जब कांग्रेस प्रभारी बनकर पहली बार बिहार पहुंचे थे तब सदाकत आश्रम में पार्टी की पहली ही बैठक में जमकर हंगामा हुआ था. अपने बैठकों के दौरान हंगामे से भक्त चरण दास का पुराना नाता रहा है. वह जहां भी जाते हैं उनके बैठक के पूर्व ही हंगामा हो जाता है. जिससे कि इन दिनों वह अजीज आ चुके हैं.
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